August 5, 2025

नईदिल्ली। भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव के मद्देनजर भारत के 35 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में एक राष्ट्रव्यापी मॉक ड्रिल की गई। देश भर के 259 जिले इस ड्रिल में भाग ले रहे हैं, जिसका उद्देश्य नागरिकों को आपातकालीन स्थितियों में खुद को बचाने के लिए ज्ञान प्रदान करना है।
दिल्ली के कई इलाकों में मॉक ड्रिल भी की गई। खान मार्केट में हुई इस ड्रिल के बारे में एनडीआरएफ के डिप्टी कमांडेंट रतीश कुमार ने कहा, “ढांचा ढहने के कारण खोज और बचाव की स्थिति में, हम मेडिकल फर्स्ट रिस्पॉन्डर मुहैया कराते हैं। हमारी टीम में कुशल मेडिकल फर्स्ट रिस्पॉन्डर (एमएफआर) शामिल हैं। हम स्थिति के अनुसार पीड़ितों की सहायता करेंगे।”
राजस्थान में मॉक ड्रिल
केंद्रीय ग्रह मंत्रालय के निर्देश के बाद राजस्थान में सेना के द्वारा मॉक ड्रिल किया गया। यहां तक कि जैसलमेर जिले में युद्धाभ्यास के लिए तकरीबन सारी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं।

केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश के बाद राजस्थान के 28 शहरों में 7 मई को मॉक ड्रिल आयोजित किया गया। इस अभ्यास के दौरान रात में सायरन बजें और ब्लैकआउट किया गया, ताकि युद्ध जैसी आपातकालीन स्थितियों में नागरिकों और सुरक्षा बलों की तैयारियों का परीक्षण किया जा सके ,हालांकि, अभी मॉक ड्रिल का समय तय नहीं हुआ है. यह मॉक ड्रिल सुरक्षा तैयारियों को परखने और नागरिकों को आपातकालीन स्थितियों के लिए जागरूक करने के उद्देश्य से की जा रही है।

बीकानेर में मॉक ड्रिल किए गए। इसी श्रृंखला में बीछवाल स्थित इंडेन बॉटलिंग प्लांट में स्थित हॉर्टन स्फीयर पर सिविल मॉक फायर ड्रिल का आयोजन किया गया।
जिला प्रशासन के समन्वय से आयोजित मॉक ड्रिल में जिला कलेक्टर श्रीमती नम्रता वृष्णि, पुलिस अधीक्षक श्री कावेंद्र सागर और आईओसीएल के वरिष्ठ प्रबंधक श्री भैरूदान बारहठ सहित अन्य अधिकारियों की मौजूदगी रही। इसका उद्देश्य संयंत्र की आपातकालीन तैयारियों का मूल्यांकन करना और उन्हें और सुदृढ़ बनाना था।
ड्रिल के दौरान एक काल्पनिक आपात स्थिति उत्पन्न की गई और संयंत्र परिसर एवं पार्किंग क्षेत्र में मौजूद सभी कर्मचारियों को शीघ्रता और कुशलता से सुरक्षित बाहर निकाला गया। इस निकासी प्रक्रिया का संचालन जिला प्रशासन के संबंधित विभागों द्वारा प्रभावी ढंग से किया गया। इसमें बेहतरीन समन्वय और नियंत्रण देखने को मिला।
मॉक ड्रिल के अंतर्गत अग्निशमन कार्य आईओसीएल बीकानेर बीपी की टीम ने भी तत्परता से काम किया। टीम ने अग्नि से संबंधित आपात स्थितियों से निपटने की अपनी क्षमता और दक्षता का प्रभावशाली प्रदर्शन किया। प्रशासन की ओर से घायलों एवं प्रभावितों को एम्बुलेंस के माध्यम से पीबीएम अस्पताल तक पहुंचाने में भी सहयोग प्रदान किया गया।
लगभग पौन घंटे चले ड्रिल का समापन ‘ऑल क्लियर’ सायरन बजाकर किया गया। गृह मंत्रालय के निर्देश अनुसार रात में लगभग 8 बजे बीकानेर में ब्लैकआउट किया गया। घरों में लाइटे बंद कर जनता ने ब्लैकआउट की पालन की ।

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